गुरुवार, अक्तूबर 05, 2017

गिरफ्तार हुई हनीप्रीत, बोली- 'मैं बेगुनाह हूं

नई दिल्ली।
डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह की कऱीबी हनीप्रीत को हरियाणा पुलिस ने पटियाला से गिरफ़्तार कर लिया है। राम रहीम के जेल जाने के बाद से वो फरार थीं। पुलिस ने बताया है कि उन्हें बुधवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा। पुलिस की पकड़ में हनीप्रीत टीवी चैनलों से बात करने के बाद आई हैं। पुलिस ने उनके साथ एक महिला को भी गिरफ़्तार किया है। पुलिस ने नेपाल तक हनीप्रीत को खोजने की कोशिश की थी।
हनीप्रीत ने दिल्ली हाई कोर्ट में अग्रीम ज़मानत के लिए याचिका दाखिल की थी, लेकिन कोर्ट ने ज़मानत देने से इनकार कर दिया था। कोर्ट ने उन्हें सरेंडर करने का आदेश दिया था।
इससे पहले करीब एक महीने छिपे रहने के बाद बलात्कारी बाबा राम रहीम की सबसे बड़ी राजदार हनीप्रीत मीडिया के सामने आई है और उसने अपनी बेगुनाही का एलान किया। हनीप्रीत ने कहा है कि वो बेगुनाह है और बाबा राम रहीम और उसके बीच बाप-बेटी का रिश्ता और ये एक पाक रिश्ता है।
अपनी बेगुनाही और अपनी पाक साफ छवि का एलान करते हुए आजतक को दिए इंटरव्यू में हनीप्रीत ने कहा, 'जिस हनीप्रीत को आपने दिखाया है, वो हनीप्रीत ऐसी नहीं है। उसे ऐसे दिखाया गया है कि उससे मैं खुद डरने लगी हूं। मैं अपनी मानसिक स्थिति बयान नहीं कर सकती हूं। मुझे देशद्रोही कहा गया है जो बिल्कुल गलत है।
सजा के एलान के दिन पंचकूला की कोर्ट में अपने जाने का बचाव करते हुए हनीप्रीत ने कहा, 'अपने पापा के साथ एक बेटी कोर्ट में जाती है। ऐसा बिना इजाजत संभव नहीं है। एक लड़की इतनी फोर्स के बीच अकेले बिना परमिशन के कैसे जा सकती है। इसके बाद कहा गया कि मैं गलत आई हूं। सारे सबूत दुनिया के सामने हैं। ऐसे में मैं कहां दंगे में शामिल थी। मेरे खिलाफ किसी के पास क्या सबूत है। मैं कहां गुनहगार हूं। मैंने बेटी का फर्ज अदा किया।
अदालत के फैसले के बाद पंचकूला और दूसरे शहरों में हुए दंगों से खुद को अलग करते हुए हनीप्रीत ने कहा, 'मैंने कहां बोला है? मैं कहां किस दंगे में शामिल रही हूं? मैं तो खुशी-खुशी कोर्ट गई ताकि शाम तक वापस आ जाएंगे लेकिन फैसला खिलाफ आ गया। हमारा तो दिमाग ही काम करना बंद कर दिया। ऐसे में हम क्या किसी के खिलाफ साजिश रच पाते
मीडिया में हनीप्रीत और बाबा राम रहीम के रिश्तों को लेकर जो कुछ चल रहा है उससे दुखी हनीप्रीत ने कहा, 'मुझे समझ में नहीं आता है कि बाप-बेटी के पवित्र रिश्ते को उछाला जा रहा है। मेरे कारण ही यही था कि हनीप्रीत को क्या प्रेजेंट किया। बाप-बेटी के रिश्ते को ऐसे तार-तार कर दिया। क्या एक बाप अपनी बेटी के सिर के उपर हाथ नहीं रख सकता है। क्या एक बेटी अपने बाप से प्यार नहीं कर सकती है
हालांकि, हनीप्रीत ने विश्वास गुप्ता के मुद्दे पर कोई भी बात करने से इनकार कर दिया। हनीप्रीत ने कहा, 'मैं इस मुद्दे पर बात नहीं करना चाहती हूं। पुलिस के सामने इसलिए नहीं पेश हुई क्योंकि आप मेरी हालात समझिए। मैं डिप्रेशन में चली गई थी।
अपने बचाव में हनीप्रीत ने कहा, 'जो लड़की अपने बाप के साथ देशभक्ति की बात करती थी  वो जेल में चले गए। फिर उस लड़की पर देशद्रोह का आरोप लगाया गया। मुझे कानून की प्रक्रिया का पता ही नहीं था। पापा के जाने के बाद मैं तो बेसहारा हो गई। मुझे लोगों ने जैसा गाइड किया मैंने वैसे ही किया। मैं हरियाणा-पंजाब हाईकोर्ट जाऊंगी। पीछे नहीं हटी लेकिन मानसिक स्थिति से संभलने में थोड़ा टाइम लगता है।
फिल्म में अपने कदम रखने के मामले में उन्होंने कहा, 'मैं हीरोइन नहीं बनना चाहती थी। मैं हमेशा कहती थी कि मैं कैमरे के पीछे रहना चाहती हूं।
डेरे में हत्या की बात को हनीप्रीत ने गलत बताया है। हनीप्रीत ने पूछा, 'क्या डेरे में नरकंकाल मिले? क्या आरोप लगाने वाली लड़कियां मिलीं? उन हजारों लड़कियों की बात अनसुनी करके सिर्फ एक खत के आधार पर किसी को कैसे गुनहगार ठहराया जा सकता है? मेरे पापा बेगुनाह हैं और आने वाले वक्त में बेगुनाह साबित होंगे। मुझे और मेरे पापा (राम रहीम) को न्याय पर पूरा भरोसा था। मुझे पूरा यकीन है कि हमें न्याय जरूर मिलेगा।
अपनी अगली रणनीति पर हनीप्रीत ने कहा, 'मुझे समझ में नहीं आ रहा था कि मैं क्या करूं? मैं जहां पर भी रही। मैं कोशिश करके दिल्ली गई। अब मैं हरियाणा-पंजाब हाईकोर्ट में जाऊंगी। मैं अभी कानूनी सलाह लूंगी।आपको बता दें कि इस वक्त हनीप्रीत छिपी हुई है। हनीप्रीत ने दिल्ली हाईकोर्ट से अग्रिम जमानत की अर्जी भी दाखिल की थी।


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