बुधवार, अप्रैल 12, 2017

राज्यपाल ने यात्रा 2017 के लिए प्रबंधों की समीक्षा की

राज्यपाल ने नए सीईओ को नियुक्त किया।

 एक लाख से अधिक तीर्थ यात्रियों ने पंजीकरण करवाया।

दीपाक्षर टाइम्स संवाददाता
जम्मू।  
उमंग नरुला, जो राज्यपाल के प्रमुख सचिव के रूप में पदभार ग्रहण कर चुके हैं, श्री अमरनाथजी श्राइन बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी के रूप में नियुक्त किए गए हैं।
नरूला के पद संभालने के बाद, राज्यपाल एन.एन. वोहरा, जो श्री अमरनाथजी श्राइन बोर्ड के अध्यक्ष भी हैं, ने  29 जून 2017 को शुरू होने वपाली आगामी यात्रा के लिए व्यवस्था की समीक्षा की।
समीक्षा बैठक में जितेन्द्र कुमार सिंह, अतिरिक्त सीईओ, आर.के. पंडिता, महाप्रबंधक (वक्र्स)  और बोर्ड के अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।
राज्यपाल ने मद अनुसार, आगामी यात्रा के लिए आवश्यक व्यवस्था करने के लिए अब तक की गई कार्रवाई की समीक्षा की।
संक्षेप में, व्यवस्था में यात्रियों का अग्रिम पंजीकरण पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी), जम्मू और कश्मीर बैंक और यस बैंक की 436 शाखाओं से शुरू हुआ है, जो देश में 32 राज्यों और संघ शासित प्रदेशों में फैले हुए हैं; पंजाब नेशनल बैंक के माध्यम से भारत से बाहर के तीर्थयात्रियों और समूह पंजीकरण सुविधा के माध्यम से समूह तीर्थयात्रा के लिए विशेष पंजीकरण सुविधा प्रदान की गई है, अनिवार्य स्वास्थ्य प्रमाणपत्र प्राप्त करने के बाद एक लाख से अधिक इच्छुक यात्री पहले से ही अग्रिम पंजीकरण करवा चुके हैं।
गंभीर चिंता जताते हुए कि बार-बार अनुस्मारक के बावजूद उत्तर प्रदेश सरकार एकमात्र राज्य है जिसने स्वास्थ्य प्रमाणपत्र जारी करने के लिए नामांकित डॉक्टरों और मेडिकल संस्थानों के बारे में अभी भी सूचित नहीं किया है। यह तय किया गया कि राज्यपाल अनिवार्य स्वास्थ्य प्रमाण पत्र जारी करने के लिए अधिकृत डॉक्टरों/ अस्पतालों के बारे में प्रतीक्षारत जानकारी के लिए मदद लेने के लिए उत्तर प्रदेश के राज्यपाल और मुख्य मंत्री को तत्काल पत्र भेजेगें।
राज्यपाल को पहलगाम और बालटाल यात्रा मार्गों में व्यवस्था की योजना के बारे में बताया गया। इसमें पटरियों और शिविरों में बिजली और पानी की आपूर्ति, राज्य स्वास्थ्य विभाग, सेना, बीएसएफ, सीआरपीएफ, एसएसबी, आईटीबीपी और जम्मू एवं कश्मीर पुलिस द्वारा स्थापित किए जाने वाले 66 मेडिकल कैंप सहित संपूर्ण यात्रा क्षेत्र में व्यापक चिकित्सा सुविधाएं  शामिल है। आधार अस्पताल, चिकित्सा सहायता केंद्रों और आपातकालीन सहायता केंद्रों में डॉक्टरों/पैरामैडिकल, कार्डियाक लाइफ स्पोर्ट, उच्च ऊंचाई वाली दवाएं, ऑक्सीजन कीओस्क इत्यादि के बारे में प्रशिक्षित किया जाएगा। पटरियों के साथ और शिविर में 2619 शौचालय, 503 स्नान घर, 876 डस्टबिन, 445 साइन बोर्ड और 3488 पानी के बिंदु होंगे। यात्रियों की सुविधा के लिए, दोनों मार्गों के साथ-साथ अतिरिक्त मार्गों पर आराम करने की जगह भी बनाई गई है और पहचान की गई जगहों पर जल शुद्धिकारक स्थापित करके पीने योग्य पानी प्रदान किया जाएगा।
राज्यपाल ने टट्टू, टट्टू-वालों, दांडी-वालों और पाल्की-वालों  के पंजीकरण के संबंध में सभी कार्रवाई को अंतिम रूप देने और पूरी तरह से पूरा करने के लिए समयबद्ध कार्रवाई करने का निर्देश दिया और यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि कोई व्यक्ति यात्रा मार्ग पर अनधिकृत रूप से नहीं जा सकता है। टेंटों और दुकानें लगाने के लिए अनुमतियां अनंतनाग और गंदरबल जिले के उपायुक्तों द्वारा समय-समय पर जारी की जानी चाहिए।
चूंकि पूरे यात्रा इलाके में पटरियों और शिविर स्थलों दोनों पर इस सर्दी में भारी हिमपात हुआ है, राज्यपाल ने कहा कि  दिन-प्रतिदिन बर्फ हटाने और मरम्मत व सुधार कार्यों के कार्यान्वयन की निगरानी विभिन्न संबंधित सरकारी एजेंसियों द्वारा किए जाने की आवश्यकता है।
राज्यपाल ने सीईओ से यात्रा के दौरान सभी कचरे के संग्रहण और निपटान को सुनिश्चित करने के लिए पहलगाम और सोनमर्ग विकास प्राधिकरण के सीईओ को समय पर कार्रवाई करने के लिए सूचित करने को कहा। उन्होंने सीईओ को निर्देश दिया कि वे और अधिक कचरादान उपलब्ध कराएं और स्वच्छता व्यवस्था के लिए दैनिक आधार पर, विशेष रूप से नूनवान और बालटाल बेस कैम्प में एसटीपी के प्रभावी कामकाज सुनिश्चित करने,  कड़ाई से निगरानी की जानी चाहिए और सुनिश्चित करें कि सभी शिविरों में स्वच्छता बनाई रखी जाए।
मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने बताया कि स्वच्छता और शिविर की सफाई करने के लिए प्रतिदिन करीबन 400 कर्मचारी तैनात किए जाएंगे।

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